Published By:धर्म पुराण डेस्क

मासिक धर्म की हर समस्या योगासन से होगी दूर

योग शास्त्र ने मासिक धर्म से जुड़ी समस्याओं के लिए कुछ योगासन, औषधि और घरेलू उपाय बताए हैं जो समस्या से निजात पाने में मदद कर सकते हैं:

योगासन:

भ्रामरी प्राणायाम (Bhramari Pranayama): इस प्राणायाम में नाक से बाहर निकलती हुई श्वास के साथ ही मौन बनाए रखना होता है। इससे धीरे-धीरे तनाव कम होता है और मासिक धर्म के दर्द में आराम मिलता है।

शीतली प्राणायाम (Sheetali Pranayama): इस प्राणायाम में जीभ को गोल बनाकर बाहर निकाली हुई श्वास को खींचकर लिया जाता है। यह तनाव को कम करने में मदद करता है और मासिक धर्म के दर्द को कम कर सकता है।

उत्तानासन (Forward Bend Pose): यह आसन पेट के दर्द को कम करने में मदद कर सकता है और मासिक धर्म के दर्द को भी कम कर सकता है।

औषधि और घरेलू उपाय-

अशोकारिष्ट (Ashokarishta): यह आयुर्वेदिक औषधि मासिक धर्म से जुड़ी समस्याओं के लिए फायदेमंद होती है।

हल्दी और दूध: हल्दी और दूध का सेवन भी मासिक धर्म के दर्द को कम करने में मदद कर सकता है।

अदरक और शहद: अदरक के रस में शहद मिलाकर सेवन करने से भी मासिक धर्म से जुड़ी समस्याएं कम हो सकती हैं।

अधिक रक्तस्राव (मेनोरेजिया): अगर मासिक धर्म के दौरान अत्यधिक रक्तस्राव हो तो यह आपकी सामान्य गतिविधियों को प्रभावित कर सकता है। यह अनियमित मासिक धर्म, इन्फेक्शन, गर्भावस्था, या अन्य स्वास्थ्य समस्याओं का लक्षण हो सकता है।

धर्म स्तम्भ (डिसमेनोरिया): यह मासिक धर्म के दौरान दर्द और तनाव का अनुभव करने की स्थिति है। यह न्यूरोलॉजी और साइकोलॉजी कारणों से हो सकता है।

अनियमित मासिक धर्म: मासिक धर्म के अनियमित आवृत्ति, अनियमित रक्तस्राव, या छोटे आवश्यकता के साथ होने वाले धर्म स्तंभ के अनियमित आवर्तन को संकेत कर सकते हैं।

पीरियड्स की पूरी तरह से अनुपस्थिति (एमेनोरिया): कई बार यह अवस्था महिलाओं में अनियमित आहार, थकान, स्त्री रोग, शारीरिक तनाव, या गर्भावस्था के कारण हो सकती है।

पीरियड्स के दौरान दर्द (डिसमेनोरिया): यह एकांतिक दर्द, आक्रामक दर्द, या पेट की पीठ में दर्द के रूप में हो सकता है।

मासिक धर्म के दौरान तनाव और उत्तेजना (पीएमएड): यह भावनात्मक और शारीरिक लक्षणों की एक समृद्धि हो सकती है जिनमें खाना, नींद, मनोबल, और भूख के बदलाव शामिल हो सकते हैं।

ध्यान रहे कि ये उपाय सिर्फ सामान्य मासिक धर्म से जुड़ी समस्याओं के लिए हैं। यदि किसी भी समस्या के लिए आपके पास गंभीरता है, तो आपको एक चिकित्सक की सलाह लेनी चाहिए।

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