Published By:धर्म पुराण डेस्क

ऐसे मिलेगा एक्सरसाइज का पूरा फायदा

वेट ट्रेनिंग का असर महिलाओं और पुरुषों पर समान रूप से नहीं देता, क्योंकि दोनों के शरीर में अलग-अलग हॉम्स स्रावित होते हैं। महिलाओं के लिए हफ्ते में कुछ दिन सीमित वेट ट्रेनिंग या वेटलिफ्टिंग करना लाभदायक है। इससे उनकी मांसपेशियों को मजबूती मिलती है।

जिम फिटनेस-

मिथ : व्यायाम करने पर जब अत्यधिक पसीना निकलता है, तब वजन तेजी से कम होता है। 

फैक्ट : यह धारणा गलत है। लोगों को लगता है कि जब पसीना निकलता है तो शरीर की चर्बी पिघलती है और वजन घटता है। स्वेट बेल्ट बनाने वाली कंपनियों के विज्ञापनों को देखकर फिटनेस कॉन्शस युवतियों की इस धारणा को बल मिलता है, पर हकीकत तो यह है कि हमारे शरीर में उत्पन्न अत्यधिक गर्मी की बायोलोजिकल रिएक्शन होती है। 

पसीना, तो शरीर के अंदरूनी तापमान को सामान्य करके त्वचा को कूल डाउन करता है। यह फैट नहीं होता बल्कि स्वेट ग्लैंड्स द्वारा रिलीज लवण और अन्य तत्व होते हैं. इसलिए पसीना नहीं निकलने का अर्थ वजन नहीं घटेगा. ऐसा नहीं है।

मिथ : एक्सरसाइज करने के बाद हम जो चाहे खा सकते हैं।

फैक्ट : सच तो यह है कि एक्सरसाइज के साथ ही खानपान पर नियंत्रण रखना बेहद जरूरी है। तभी वजन पर नियंत्रण रखना मुमकिन होगा। 

हेल्थ एक्सपर्ट्स के मुताबिक हम एक्सरसाइज करके जितनी कैलोरीज बर्न करते हैं, उससे कम का इनटेक करते हैं, तब वजन घटाना संभव हो पाता है। अगर हमने एक्सरसाइज के जरिए जितनी कैलोरीज बर्न की, उसकी तुलना में मिठाई या खूब घी तेल वाले व्यंजन का सेवन कर लिया तो वजन घटाना संभव नहीं है।

मिथ : जितनी ज्यादा एक्सरसाइज उतनी बेहतर होगी फिटनेस| 

फैक्ट : यह भ्रामक धारणा है। हेल्थ एक्सपर्ट्स के मुताबिक सामान्य व्यक्ति के लिए हफ्ते में पांच दिन आधा घंटा किसी भी प्रकार की एक्सरसाइज करना फायदेमंद है। इससे न सिर्फ वजन पर नियंत्रण रखने में मदद मिलती है, बल्कि संपूर्ण स्वास्थ्य बेहतर होता है। साथ ही शरीर में ऊर्जा का संचार होता है। ऑल्टरनेट दिनों में अलग-अलग एक्सरसाइज करने से शरीर को फायदा पहुंचता है। इससे सभी मांसपेशियों की कसरत भी हो जाती है।

मिथ : खाली पेट एक्सरसाइज करना लाभकारी होता है। इससे फैट बर्न करने में मदद मिलती है।

फैक्ट: कुछ लोगों को लगता है कि सुबह खाली पेट वर्कआउट करने से अधिक तेजी से वजन घटाने में मदद मिलती है। जबकि अभी तक इस बात को वैज्ञानिक रूप से प्रमाणित नहीं किया जा सका है। वास्तव में खाली पेट वर्कआउट करने से बेहद थकान महसूस होती है। हमारे शरीर को मांसपेशियां बनाने और कैलोरीज बर्न करने के लिए भी ईंधन की आवश्यकता होती है, इसलिए वर्कआउट से एक घंटा पहले कुछ हल्का नाश्ता कर लें।

मिथ : एक्सरसाइज के दो घंटे बाद तक कुछ नहीं खाना चाहिए, अन्यथा उसका फायदा नहीं मिलता।

फैक्ट : ऐसा सोचना भी गलत है। इस सोच के पीछे तर्क है कि एक्सरसाइज के जरिए हम कैलोरीज बर्न करते हैं और जब हम उसके तुरंत बाद कुछ खा लेते हैं तो कैलोरीज बर्न करने का वह प्रयास ही निरर्थक हो जाता है। 

हेल्थ एक्सपर्ट्स की सलाह के अनुसार एक्सरसाइज के आधे घंटे के भीतर कुछ हेल्दी नाश्ता अवश्य करना चाहिए। मांसपेशियों की मजबूती के लिहाज से समुचित मात्रा में प्रोटीन का सेवन फायदेमंद है।

नियंत्रण रखना मुमकिन है, बल्कि हड्डियों की मजबूती, ब्लड प्रेशर पर नियंत्रण और दिल की सेहत को दुरुस्त रखना भी संभव है। नियमित एक्सरसाइज से अवसाद और तनाव से भी दूरी बनाए रखने में मदद मिलती है। इसके फलस्वरूप हार्ट अटैक, डिमेंशिया, डायबिटीज इत्यादि रोगों का खतरा कम होता है और उम्र बढ़ती है। 

इन बातों की पुष्टि अब तक विभिन्न अध्ययनों में हुई है, पर कई बार यह भी देखा गया है कि एक्सरसाइज से जुड़ी भ्रामक बातें लोगों के मन-मस्तिष्क में बैठ जाती हैं। वास्तव में एक्सरसाइज का भरपूर लाभ उठाने के लिए जरूरी है कि हमें सही जानकारी हो।

मिथ : व्यायाम के बाद शरीर में दर्द होना लाजमी है। ऐसा हो तभी उसका फायदा मिलता है।

फैक्ट : ऐसा नहीं है। अगर एक्सरसाइज करने के दौरान दर्द महसूस हो तो उसे वहीं रोक देना चाहिए। अत्यधिक दर्द महसूस होना शरीर में अंदरूनी चोट पहुंचने का संकेत देता है। यह गलत तरीके से एक्सरसाइज किए जाने का परिणाम भी हो सकता है। 

अगर आपको यह पता है कि अंदरूनी चोट है और उसके इलाज के क्रम में डॉक्टर ने एक्सरसाइज करने की सलाह दी है तो बात अलग हो जाती है। लोग सोचते हैं कि इंटेंस वर्कआउट करने के बाद जब तक शरीर में दर्द न उठे तब तक असर नहीं होता, लेकिन यह भ्रांति है। 

वास्तव में लगातार एक्सरसाइज करने से हमारा शरीर उसका अभ्यस्त हो जाता है। इसका एक अर्थ यह है कि हमारी मांसपेशियों में मजबूती आती है, इसलिए इंटेंस एक्सरसाइज करने के बाद दर्द महसूस नहीं होता, इसलिए अब वर्कआउट के बाद अगर मांसपेशियों में अधिक दर्द हो या शारीरिक रूप से असहज महसूस करें तो उस एक्सरसाइज को वहीं रोक दें। 

एक ब्रेक के बाद एक्सरसाइज करने पर पुन: दर्द हो तो आपको एक्सपर्ट से सलाह लेनी चाहिए।
 

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